बिलासपुर। कलेक्टर के निर्देश पर झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ अभियान शुरू हो गया है। कल दो क्लिनिक सिल करने के बाद दो और दुकानों को सील कर दिया गया है। स्वस्थ विभाग का एक बाबू भी क्लिनिक खोलकर लोगों का इलाज कर रहा था। 🏥 👨⚕️
ब्लॉक मुख्यालय कोटा में कल देर रात दो और अवैध क्लीनिकों पर कार्रवाई की गई। जांच के बाद दोनों क्लीनिक सील कर दिए गए। इसमें कोटा में संचालित विश्वास क्लीनिक और दूसरा मरावी क्लीनिक है। मरावी क्लीनिक का संचालक देवशंकर मरावी है जो कि शासकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र कोटा में क्लर्क पद पर कार्यरत है। कल दिन में गुप्ता क्लीनिक और चिरंजीत विश्वास क्लीनिक के विरुद्ध कार्रवाई की गई थी।
कलेक्टर अवनीश शरण ने इस तरह की कार्रवाई आगे भी जारी रखने के निर्देश दिए हैं।
कोटा एसडीएम युगल किशोर उर्वशा के नेतृत्व में राजस्व और स्वास्थ्य विभाग की टीम ने छापामार शैली में दबिश देकर कार्रवाई की। कोटा में गुरु द्वारा के पीछे में संचालित मरावी क्लिनिक और महाशक्ति चौक में संचालित विश्वास क्लिनिक की जांच की गई। दोनों ही क्लिनिक में भारी मात्रा में एलोपैथी दवाईयां और इंजेक्शन पाया गया । मौके पर जांच के दौरान मरीजों की लंबी कतार देखी गई।विश्वास क्लिनिक में इलाज कराने आए धनरास के ग्रामीण विशंभर सिंह को कुल 713 रुपए की दवाई देकर कुल 1300 रूपए वसूला गया। जिसे तहसीलदार द्वारा वापस कराया गया । इसी प्रकार मरावी क्लिनिक के संचालक देवशंकर मरावी हैं, जो शासकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कोटा में क्लर्क के रूप में पदस्थ हैं । इनके द्वारा भी भारी मात्रा में एलोपैथी दवाईयां रखकर इलाज किया जा रहा था। यहां इंजेक्शन, एंपल्स और भारी मात्रा में एलोपैथी की दवा मिली है। बिना डिग्री के इलाज और भारी मात्रा में भंडारित एलोपैथी दवाइयों और इंजेक्शन के कारण दोनों क्लीनिक को तहसीलदार कोटा द्वारा सील किया गया। ये कार्यवाही तहसीलदार कोटा और कोटवारों की संयुक्त टीम ने शुक्रवार को हो देर रात की है।